रायपुर, छत्तीसगढ़ : CG News : छत्तीसगढ़ सरकार ने आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों के लिए एक अभूतपूर्व पहल की घोषणा की है। अब ऐसे नक्सली, जिनकी नक्सली संगठनों द्वारा नसबंदी करा दी गई थी और वे पिता बनने के सुख से वंचित रह गए थे, उन्हें सरकार ‘टेस्ट ट्यूब बेबी’ (IVF) की सुविधा उपलब्ध कराएगी। यह जानकारी उप-मुख्यमंत्री विजय शर्मा ने मीडिया से बातचीत में दी।
CG News : जीवन का एक बड़ा तोहफा : पिता बनने का सुख
डिप्टी सीएम विजय शर्मा ने बताया कि नक्सल संगठनों ने कई लोगों को न सिर्फ उनके परिवार से दूर किया, बल्कि उनसे पिता बनने का सुख भी छीन लिया। उन्होंने कहा, “हमारे प्रावधानों में है कि जिनकी नसबंदी कराई जाती है, वे मुख्य धारा में आने के बाद (सरेंडर करने के बाद) अगर माता-पिता बनना चाहते हैं, तो सरकार द्वारा टेस्ट ट्यूब बेबी की सुविधा भी दी जा रही है।” यह सुविधा उन लोगों के लिए एक बड़ा वरदान साबित होगी जो प्राकृतिक रूप से माता-पिता बनने में असक्षम हैं, क्योंकि IVF उपचार में लाखों रुपये का खर्च आता है। साय सरकार की यह पहल आत्मसमर्पित नक्सलियों को मुख्यधारा में जोड़ने के साथ-साथ उन्हें एक सामान्य पारिवारिक जीवन जीने में भी मदद करेगी।
पुनर्वास और विवाह की भी चिंता
डिप्टी सीएम ने यह भी बताया कि पुनर्वास केंद्रों में बड़ी संख्या में युवा आ रहे हैं। सरकार उनके विवाह की भी चिंता कर रही है। महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा सामूहिक विवाह का आयोजन किया जाएगा, जिसे उन्होंने “बेहद अलग और अद्भुत नजारा” बताया। यह कदम नक्सलियों को समाज में पूर्ण रूप से reintegrate करने की दिशा में एक बड़ा प्रयास है।
मानसून में भी जारी रहेगा एंटी-नक्सल ऑपरेशन
एक अन्य महत्वपूर्ण घोषणा में, डिप्टी सीएम विजय शर्मा ने बताया कि मानसून के मौसम में भी एंटी-नक्सल ऑपरेशन जारी रहेंगे। उन्होंने स्वीकार किया कि बारिश के मौसम में जवानों को नक्सलियों के खिलाफ ऑपरेशन में कई चुनौतियों का सामना करना पड़ता है। इन चुनौतियों से निपटने के लिए जवानों को हैदराबाद में विशेष प्रशिक्षण दिया जा रहा है। शर्मा ने विश्वास व्यक्त किया कि जवानों के हौसले के सामने सभी चुनौतियां फीकी पड़ रही हैं और ऑपरेशन लगातार जारी रहेंगे। यह सरकार की नक्सलियों के प्रति कठोर और मानवीय दोनों तरह की नीतियों का एक मिश्रण दर्शाता है।